धराली हादसा: 274 लोगों को बचाया गया, राहत कार्य में जुटे 814 रेस्क्यू कर्मी

धराली हादसा: 274 लोगों को बचाया गया, राहत कार्य में जुटे 814 रेस्क्यू कर्मी

दिल्ली। उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले के धराली क्षेत्र में आई आपदा के बाद से रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है। मलबे के बीच फंसे लोगों की सकुशल वापसी के लिए सेना, वायुसेना, आईटीबीपी, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और प्रशासन की टीमें लगातार प्रयास कर रही हैं।

अब तक गंगोत्री और अन्य क्षेत्रों से कुल 274 लोगों को हर्षिल लाया गया

राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की ओर से जारी ताजा अपडेट के अनुसार अब तक गंगोत्री और अन्य क्षेत्रों से कुल 274 लोगों को हर्षिल लाया गया है, जिनमें गुजरात के 131, महाराष्ट्र के 123, मध्य प्रदेश के 21, उत्तर प्रदेश के 12, राजस्थान के 6, दिल्ली के 7, असम और कर्नाटक के 5-5, तेलंगाना के 3 और पंजाब का एक व्यक्ति शामिल हैं। सभी लोग पूरी तरह सुरक्षित हैं और इन्हें उत्तरकाशी या देहरादून भेजा जा रहा है।

वायुसेना के चिनूक और एमआई-17 सहित कुल 6 हेलीकॉप्टर रेस्क्यू ऑपरेशन में लगे

रेस्क्यू ऑपरेशन में वायुसेना के चिनूक और एमआई-17 सहित कुल 6 हेलीकॉप्टर, राज्य सरकार की ओर से युकाड़ा द्वारा तैनात किए गए हैं। इसके अतिरिक्त, 2 अन्य हेलीकॉप्टर लगाए जा रहे हैं और अगले दिन से कुल 8 हेलीकॉप्टर को ऑपरेशन में लगाया जाएगा। सेना के एचएएल और चीता हेलीकॉप्टरों के जरिए भी सुबह 7 बजे से ऑपरेशन शुरू कर दिया गया है।

479 अधिकारी और सदस्य सक्रिय रूप से कार्यरत

रेस्क्यू और राहत कार्यों में 479 अधिकारी और सदस्य सक्रिय रूप से कार्यरत हैं। इनमें राजपुताना रायफल्स के 150 जवान, सेना की घातक टीम के 12 सदस्य, एनडीआरएफ के 69, एसडीआरएफ के 50, आईटीबीपी के 130, पुलिस और वायरलेस के 15 अधिकारी, चिकित्सा टीम और अग्निशमन विभाग सहित प्रशासनिक अमला शामिल है।

इसके अलावा, राहत कार्य के लिए तैनात 814 अन्य सदस्य अलग-अलग स्थानों से रवाना किए गए हैं, जिनमें नेलांग से 40, आर्मी मेडिकल के 50, टोकला टीसीपी से 50, आगरा से स्पेशल फोर्स के 115, आईटीबीपी के 89, एनडीआरएफ के 160, एसडीआरएफ के 30 और पुलिस के 280 जवान शामिल हैं।

स्वास्थ्य सेवाएं

स्वास्थ्य सेवाओं की बात करें तो धराली में एक मेडिकल टीम, एक डॉक्टर, एक फार्मासिस्ट और एक एम्बुलेंस तैनात है। हर्षिल में 7 विशेषज्ञ डॉक्टरों की टीम एसएमओ मेडिसिन के साथ कार्यरत है। मातली में आईटीबीपी के 2 डॉक्टर व स्वास्थ्य विभाग के 4 विशेषज्ञ और धर्मशाला उत्तरकाशी में 8 विशेषज्ञ डॉक्टर तैनात किए गए हैं। कुल मिलाकर 294 बेड्स और 65 आईसीयू बेड्स की व्यवस्था की गई है।

230 लोगों का रेस्क्यू

अब तक 230 लोगों का रेस्क्यू किया गया है, जिनमें से 230 को हेलीकॉप्टर के माध्यम से जौलीग्रांट पहुंचाया गया है, जबकि अन्य को सड़क मार्ग से उनके गंतव्य तक भेजा जा रहा है। रेस्क्यू किए गए 13 घायलों को मातली अस्पताल लाया गया, जिनमें से 3 को गंभीर स्थिति में एम्स ऋषिकेश, 2 को मिलिट्री हॉस्पिटल देहरादून और 8 को जिला चिकित्सालय उत्तरकाशी में भर्ती कराया गया है।

रेस्क्यू कार्य में जेसीबी, एस्कवेटर और डोजर सहित कुल 5 मशीनें कार्यरत हैं। गंगोत्री में अभी भी लगभग 400 लोग फंसे हुए हैं, जिन्हें आईटीबीपी द्वारा हर्षिल लाया जा रहा है और फिर वहां से हेलीकॉप्टर के जरिए मातली पहुंचाया जा रहा है। अब तक 105 लोगों को हर्षिल से निकाला जा चुका है।

राहत कार्यों में तेजी

इस आपदा में अब तक 2 लोगों के शव बरामद किए गए हैं, जबकि 9 सैन्यकर्मी और 7 आम नागरिक अभी भी लापता हैं। राहत कार्य में तेजी लाने के लिए आईसीपी धराली अब फंक्शनल हो चुकी है और एनडीआरएफ का क्विक रिस्पॉन्स यूनिट भी सक्रिय किया जा रहा है। लोगों तक भोजन पहुंचाने के लिए 2,000 ‘रेडी टू इट’ फूड पैकेट हर्षिल भेजे गए हैं। इसके अलावा, फूड एंड सप्लाई विभाग की ओर से नियमित रूप से सूखा राशन और अन्य खाद्य सामग्री भेजी जा रही है।